जब राम के पास इतनी शक्ति थी तो उन्हें रावण को मारने के लिए वानरों की सहायता लेने की क्यूँ ज़रुरत पड़ी ? इसके पीछे भी एक कहानी है | एक दिन पुष्पक विमान से दस्ग्रीव सरकंडा वन से निकल रहा था | एक जगह पहुँच उसके विमान आगे नहीं बढ़ रहा था | उसे अचानक एक आवाज़ सुनाई दी की यहाँ से चले जाओ शिवजी और पार्वती यहाँ विश्राम कर रहे हैं | क्यूंकि वहां बहुत रौशनी थी दस्ग्रीव को नंदी का मुख वानर जैसा प्रतीत हुआ | उसने उनका काफी उपहास किया जिस वजह से नंदी कुपित हो गए | उन्होनें दस्ग्रीव को श्राप दिया की तुमने मुझे वानर कह मेरा मजाक बनाया है तो अब तुम वानरों के कारण ही नष्ट हो जाओगे |