द्वादश: राशि के अलग - अलग इष्ट देव है; उपास्य देवता है | उसी समान प्रत्येक लग्न के भी अलग - अलग देवता है | आम व्यक्ति कौन से देव - देवता की उपासना करे इसका निर्णय नहीं ले सकता | अत: उसे उचित फलप्राप्ति नही मिलपाती | प्रस्तुत अनिश्चित को निश्चित में परिवर्तन करने हेतु ज्योतिषशास्त्र में काफी सहायता है , योगदान है | अब हम किसी भी व्यक्ति का क्या लग्न है; क्या राशि है; उसके आधारपर अपने - अपने प्रिय देव - देवता की आराधना , उपासना करनी चाहिए |
अ.नं. राशी राशी स्वामी उपास्य देवता
१ मेष मंगल श्री गणपती , हनुमान
२. वृषभ शुक्र कुलस्वामिनी , लक्ष्मीमाता
३. मिथुन बुध कुबेर, दुर्गादेवी
४. कर्क चंद्र श्री शिवशंकर
५. सिह रवि सूर्य, ब्रम्हा
६. कन्या बुध कुबेर, दुर्गा
७. तुला शुक्र कुलस्वामिनी
८. वृश्चिक मंगळ श्री गणपती, हनुमान
९. धनु गुरु दत्तात्रोय
१०. मकर शनी श्री शनिदेव , हनुमान
११. कुंभ शनी श्री शनिदेव , हनुमान
१२. मीन गुरु बृहस्पती