एक जीवित भूत अनोखी बात है पर फिर भी कई बार होता है | एक जीवित भूत एक ऐसे व्यक्ति का प्रतिरूप है जो दर्शन के समय जैविक तौर पर उस वक़्त कहीं और उपस्थित है | अक्सर ये भूत दर्शक का जान पहचान वाला होता है | जांच से पता चलता है की जिस व्यक्ति को देखा गया था वह अक्सर उस वक़्त किसी मुसीबत या खतरे का सामना कर रहा होता है और वह अपने प्रिय जन को आने वाले खतरे के बारे में बताने के लिए या उससे बचने के लिए वहां आ गया है | ये दृश्य एक ही बार प्रदर्शित होते हैं और क्यूंकि ये दुबारा प्रदशित नहीं होते हैं इनका विश्लेषण कर पाना बेहद कठिन है |
एक और जीवित व्यक्ति के भूत का उदाहरण हैं “मौत के समय” पर भूत का नज़र आना | वह व्यक्ति तकनिकी तौर पर दर्शन के वक़्त जिंदा होता है ,लेकिन भूत तब नज़र आता है जब वह बिलकुल मरने वाला हो और जिसका दर्शक को कोई अंदेशा नहीं हो | वह व्यक्ति उस वक़्त किसी और स्थान पर होता है और इसलिए दर्शक उसे देख थोडा भ्रमित हो जाता है | बाद में जब मौत की खबर आती है तो दर्शक उसे देखने की बात बताता है | ये व्यक्तित्व भी पारिवारिक होते हैं क्यूंकि वह अपने नजदीकी सम्बन्धियों को ही दिखाई देते हैं | ऐसे दर्शन दुर्लभ होते है और उनका विश्लेषण या दर्शक की गवाही के इलावा परिलेख करना मुश्किल होता है क्यूंकि इनकी भविष्यवाणी करना मुश्किल होता है और वह दुबारा घटित नहीं होते हैं |