एक मिसाली शिक्षक और विद्वान वह भारत के धर्म और दर्शन शास्त्र के सबसे प्रभावी शास्त्रियों में से थे | राधाकृष्णन ने पूरब और पश्चिम के बीच एक रिश्ता स्थापित किया और दिखाया कैसे हर परंपरा की दर्शनीय प्रणाली एक दुसरे के साथ समावेश हो सकती है | उनके इस योगदान के लिए उनके जन्मदिवस 5 सितम्बर को शिक्षक दिवस के तौर पर पूरे देश में मनाया जाता है |